भेंट वार्ता: असम के उत्थान के लिए मुख्यमंत्री श्री हिमंता बिस्वा सरमा के साथ ऋशिद्वय की समीक्षा बैठक
पाम आयल को बढ़ावा देकर पतंजलि खाद्य तेल के क्षेत्र में बाहरी देशों पर भारत की निर्भरता को कम करना चाहती है: पूज्य स्वामी जी
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असम के एक दिवसीय दौरे पर पहुंचे पूज्य स्वामी रामदेव जी महाराज व श्रद्धेय आचार्य बालकृष्ण जी महाराज ने असम के मुख्यमंत्री श्री हिमंता बिस्वा सरमा से मुलाकात कर असम के उत्थान के लिए पतंजलि के द्वारा किये जा रहे कार्यों की एक समीक्षा बैठक की। बैठक में पूज्य स्वामी जी महाराज ने पाॅम ऑइल प्लांटेशन को बढ़ावा देने के लिए और असम के किसानों को आर्थिक रूप से मजबूत बनाने के लिए पतंजलि द्वारा किये जा रहे कार्यों को बताया। इस अवसर पर पूज्य स्वामी जी महाराज ने कहा कि जैसा कार्य पतंजलि पाॅम आयल के क्षेत्र में कर रही है, वैसे ही कार्य की अपेक्षा भारत सरकार की है। पाॅम आयल को बढ़ावा देकर पतंजलि खाद्य तेल के क्षेत्र में बाहरी देशों पर भारत की निर्भरता को कम करना चाहती है। साथ ही देश का धन देश में रहे, इसी संकल्प के साथ कार्य किया जा रहा है। पतंजलि ने असम के किसानों की आय को दो-गुना करने के लिए आॅर्गेनिक खेती की रूपरेखा को किसानों के समक्ष रखा। पतंजलि किसानों को ट्रेनिंग देकर आत्मनिर्भर बना रही है, साथ ही उनके खेतांे की मिट्टी की गुणवत्ता व उर्वरकता का आंकलन कर मौसम व परिस्थिति अनुसार फसल के चयन की जानकारी दी जा रही है। इन सभी प्रकार के कार्य जो असम में पतंजलि द्वारा चलाये जा रहे हैं, उससे माननीय मुख्यमंत्री जी को अवगत कराया। आज किसान पतंजलि द्वारा दी गई टेक्नोलाॅजी के आधार पर अपनी सीमित भूमि पर कई लाभकारी उपज व जड़ी-बूटियों को उगा रहा है और अपनी आय को दो-गुना कर रहा है और यही भारत सरकार के प्रधानमंत्री का सपना भी है जो पतंजलि असम सरकार के सहयोग से पूरा कर रही है। पतंजलि असम में आयुर्वेद को बढ़ावा देने के उद््देश्य से एक बड़ा पतंजलि वैलनेस सेंटर खोलने जा रही है, जहाँ पूर्वोत्तर के लोग वहाँ जाकर स्वास्थ्य लाभ उठा सकेंगे, साथ ही पूज्य स्वामी जी महाराज ने असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा को सुझाव दिया है कि वह पी.पी. मोड़ में सरकार के साथ मिलकर एक अत्याधुनिक आयुर्वेद काॅलेज खोलना चाहते हैं, जिससे वहाँ के हजारों नौजवानों को रोजगार भी मिलता और असमवासियों को आयुर्वेद द्वारा चिकित्सा करवाने का विकल्प भी मिलेगा।
दूसरी ओर श्रद्धेय आचार्य श्री ने असम के मुख्यमंत्री को लैंड रिकाॅर्ड को कैसे डिजीटल किया जा रहा है, उसकी विस्तृत जानकारी आपस में साक्षा की। साथ ही पतंजलि के अधिकारियों ने लैंड रिकाॅर्ड के डिजिटलीकरण पर अब तक कितना कार्य किया जा चुका है, उस पर अपनी प्रेजेंटेशन प्रस्तुत की। पतंजलि द्वारा किये जा रहे समस्त कार्यों की माननीय मुख्यमंत्री जी ने प्रशंसा की और भविष्य में असम के उत्थान के लिए पतंजलि इसी प्रकार कार्य करेगा इसका वचन भी पूज्य स्वामी जी महाराज से लिया। मुलाकात के अंतिम पड़ाव में आयुर्वेद शिरोमणि परम पूज्य आचार्य बालकृष्ण जी महाराज ने आयुर्वेद से जुड़ी किताबों का एक पूरा बाॅक्स असम के लोकप्रिय मुख्यमंत्री को भेंट किया। जिसमें आयुर्वेद से जुड़ी हुई अनमोल पुस्तकें थी। उन्होंने पतंजलि द्वारा आयुर्वेद के क्षेत्र में निरन्तर अनुसंधान व आयुर्वेदपरक नवीन पुस्तकों के विषय में जानकारी दी। पूज्य आचार्य श्री ने पतंजलि अनुसंधान संस्थान द्वारा अनुसंधानपरक एवीडेंस बेस्ड औषधियों के निर्माण के विषय में भी मुख्यमंत्री को अवगत कराया। उन्होंने कहा कि राष्ट्र निर्माण व उत्थान में पतंजलि के वैज्ञानिक अखण्ड-प्रचण्ड पुरुषार्थ कर रहे हैं, पूज्य आचार्य जी ने पतंजलि की अनुसंधनपरक गतिविधियों से माननीय मुख्यमंत्री जी को रूबरू कराया। इन वैज्ञानिकों के अथक प्रयास से अन्तर्राष्ट्रीय स्तर पर बड़े रिसर्च जर्नल्स में निरन्तर प्रकाशित लेखों के विषय में भी वार्ता की गई।
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अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर बड़े रिसर्च जर्नल्स में निरंतर प्रकाशित लेखों के विषय में भी वार्ता की गई।
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